दिल्ली। आयुष मंत्रालय ने 19 सितम्बर से 22 सितम्बर तक प्रगति मैदान में आयोजित विश्व खाद्य भारत 2024 कार्यक्रम में आयुष मंडप के माध्यम से आधुनिक पोषण एवं सम्पूर्ण स्वास्थ्य में आयुर्वेद और भारत की विभिन्न पारंपरिक चिकित्सा प्रणालियों की महत्वपूर्ण भूमिका को प्रदर्शित किया।
आयुष मंत्रालय के मंडप में आयुर्वेद आहार का प्रदर्शन किया गया, जो एक ऐसी अवधारणा है जो पारंपरिक ज्ञान को समकालीन खाद्य समाधानों के साथ जोड़ती है और दुनिया भर का ध्यान आकर्षित कर रही है। वरिष्ठ गणमान्य व्यक्तियों और दुनिया भर के हितधारकों की उपस्थिति वाले इस कार्यक्रम में आयुर्वेद से प्रेरित भारत की समृद्ध खाद्य परम्पराओं और वर्तमान वैश्विक स्वास्थ्य चुनौतियों के लिए उनकी प्रासंगिकता पर जोर दिया गया।
वर्ल्ड फ़ूड इंडिया 2024 के उद्घाटन के दिन आयुष मंत्रालय के सचिव वैद्य राजेश कोटेचा ने आयुष मंडप का दौरा किया और आयुर्वेद को, खासकर आधुनिक जीवनशैली के संदर्भ में, मुख्यधारा के पोषण और स्वास्थ्य से जोड़ने के महत्व पर जोर दिया। सचिव ने कहा, “आयुर्वेद आहार वैज्ञानिक रूप से समर्थित, समय के साथ परखा हुआ आहार समाधान प्रदान करता है जो समग्र स्वास्थ्य को बढ़ावा देता है। वर्ल्ड फ़ूड इंडिया इस प्राचीन ज्ञान को वैश्विक मंच पर लाने के लिए एक आदर्श मंच प्रदान करता है।”
आयुष मंडप के मुख्य आकर्षणों में मधुमेह, मोटापा और उच्च रक्तचाप जैसी जीवनशैली संबंधी बीमारियों से निपटने वाले आयुर्वेदिक आहार उत्पादों पर केन्द्रित एक विशेष प्रदर्शनी शामिल थी। प्रदर्शनी में दिखाया गया कि कैसे आयुर्वेदिक सामग्री को समग्र स्वास्थ्य और तंदुरुस्ती को बढ़ाने के लिए रोज़मर्रा के भोजन में शामिल किया जा सकता है।
इसके अतिरिक्त, मंडप में आयुर्वेद के अनुसार शरीर की अलग-अलग प्रकृति के आधार पर व्यक्तिगत आहार संबंधी सलाह देते हुए आयुर्वेदिक पोषण विशेषज्ञों के साथ लाइव प्रदर्शन और परामर्श किया गया। इसके अलावा, सार्वजनिक और निजी दोनों क्षेत्रों के प्रतिनिधियों ने आयुर्वेद आहार अनुसंधान और उत्पाद विकास को आगे बढ़ाने के लिए साझेदारी पर चर्चा की। योग भी लाइव प्रदर्शन और योग चिकित्सा के रूप में अपनी उपस्थिति दर्ज करा रहा है।