
मुंबई। बाजीराव मस्तानी 18 दिसंबर 2025 को अपने शानदार 10 साल पूरे कर रही है, और हम कह सकते हैं कि यह फिल्म आज भी भारतीय सिनेमा में भव्यता की बेहतरीन मिसाल बनकर खड़ी है। दरअसल, विजनरी फिल्ममेकर संजय लीला भंसाली ने खूबसूरत विजुअल्स, इमोशंस से भरी कहानी और पारंपरिक अंदाज़ के ज़रिए बार-बार भारतीय कहानियों को दुनिया भर में पहचान दिलाई है। अक्सर संजय लीला भंसाली की तुलना गुरु दत्त से उनकी भावनाओं भरी गहराई के लिए और राज कपूर से उनके बड़े और रोमांटिक अंदाज़ के लिए की जाती है। बाजीराव मस्तानी के साथ भंसाली ने फिर साबित किया कि सिनेमा पर उनकी पकड़ कितनी मजबूत है। दस साल बाद भी यह फिल्म उतनी ही असरदार और यादगार लगती है। तो आइए इस मॉडर्न क्लासिक फिल्म से जुड़े 10 दिलचस्प और कम सुने गए किस्से जानते हैं।
1. सालों से सजा एक सपना
बाजीराव मस्तानी संजय लीला भंसाली का बहुत पुराना सपना था। इस फिल्म का आइडिया उनके मन में कई साल पहले आ चुका था, लेकिन उन्होंने जल्दबाज़ी नहीं की। वह सही कास्ट और सही स्केल का इंतज़ार करते रहे, ताकि इस ऐतिहासिक लव स्टोरी के साथ पूरा न्याय किया जा सके।
2. रणवीर सिंह का करियर बदल देने वाला ट्रांसफॉर्मेशन
पेशवा बाजीराव का किरदार निभाने के लिए रणवीर सिंह ने खुद को पूरी तरह बदल लिया। उन्होंने मुश्किल तलवारबाज़ी की ट्रेनिंग ली और मराठा योद्धा जैसी ताकत और जोश को अपनाया। शारीरिक ही नहीं, भावनात्मक तौर पर भी उन्होंने इस किरदार को पूरी शिद्दत से जिया। यही वजह है कि यह रोल आज भी उनके करियर के सबसे बेहतरीन परफॉर्मेंस में से एक गिना जाता है।
3.मस्तानी के रूप में दीपिका पादुकोण
दीपिका पादुकोण ने मस्तानी के किरदार को बहुत सादगी और मजबूती के साथ निभाया। उन्होंने मस्तानी को सिर्फ एक प्रेम करने वाली महिला नहीं, बल्कि एक बहादुर और आत्मसम्मान से भरी योद्धा के रूप में दिखाया। उनकी आंखों में दर्द, चेहरे पर भरोसा और चाल में गरिमा साफ नजर आती है। यही कारण है कि मस्तानी आज भी भंसाली की फिल्मों के सबसे यादगार महिला किरदारों में शामिल है।
4. काशीबाई के रूप में प्रियंका चोपड़ा
काशीबाई के किरदार में प्रियंका चोपड़ा को खूब सराहना मिली। उन्होंने इस रोल में गहरी भावनाएं और सादगी दिखाई। खास तौर पर दीवानी मस्तानी और पिंगा जैसे गानों में उनका दर्द, संयम और मजबूती साफ नजर आई। उनकी अदाकारी ने कहानी के टकराव और भावनाओं को और भी असरदार बना दिया।
5. फिल्म का दिलवाले से बड़ा टकराव
2015 में रिलीज़ के वक्त बाजीराव मस्तानी की सीधी टक्कर शाहरुख खान और काजोल की फिल्म दिलवाले से हुई थी। इतनी बड़ी कॉम्पिटिशन के बावजूद, भंसाली की यह फिल्म दर्शकों और समीक्षकों दोनों को खूब पसंद आई और बॉक्स ऑफिस पर भी बड़ी सफलता साबित हुई।
6. खास तौर पर बनाए गए भव्य सेट्स
भंसाली की फिल्मों की तरह, इस फिल्म के ज़्यादातर महल, दरबार और जंग के मैदान अलग से बनाए गए थे। हर चीज़ को बहुत ध्यान से तैयार किया गया, ताकि मराठा काल की दुनिया बिल्कुल असली और खूबसूरत लगे।
7. कई महीनों तक चली ‘दीवानी मस्तानी’ की शूटिंग
खूबसूरत गाने दीवानी मस्तानी की शूटिंग कई दिनों तक चली। इस गाने में नृत्य की तैयारी, रोशनी का खास ध्यान और भारी-भरकम कॉस्ट्यूम पर बहुत मेहनत की गई। यही वजह है कि इसे हिंदी सिनेमा के सबसे बड़े और यादगार गानों में गिना जाता है।
8. भंसाली संगीतकार के रूप में फिर छा गए
संजय लीला भंसाली का संगीत इस फिल्म की जान बना। मल्हारी, पिंगा और मोहे रंग दो लाल जैसे गाने रिलीज़ होते ही सुपरहिट हो गए और आज भी उतने ही पसंद किए जाते हैं। इन गीतों ने फिल्म की भावनाओं को और गहरा बना दिया।
9. नेशनल अवॉर्ड जीतने वाली फिल्म
बाजीराव मस्तानी ने कई बड़े अवॉर्ड अपने नाम किए, जिनमें नेशनल फिल्म अवॉर्ड और फिल्मफेयर अवॉर्ड शामिल हैं। इन सम्मानों ने इसे दशक की सबसे ज़्यादा सम्मानित और यादगार फिल्मों में शामिल कर दिया।
10. भारतीय सिनेमा को दुनिया में पहचान
बाजीराव मस्तानी को विदेशों में भी इसके खूबसूरत दृश्य और भारतीय रंग-ढंग के लिए बहुत पसंद किया गया। इस फिल्म ने साबित किया कि संजय लीला भंसाली भारतीय संस्कृति और कहानियों को ऐसे दिखाते हैं कि दुनिया भर के लोग उन्हें समझते और महसूस करते हैं।


